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Wednesday, April 27, 2022
Day 11 Environment
Tuesday, April 5, 2022
MS Word ( fact )
LibreOffice vs Office
- · Spreadsheet: Calc - Excel
- · Word processing: Writer - Word
- · Presentations: Impress - Presentation
- · Database: Base - Access
- · Math: Formula Editor
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OpenDocument
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Sunday, April 3, 2022
Day - 10 Environment ( ENERGY RESOURCES)
Energy Resource(ऊर्जा संसाधनों) : in energy resource is something that can produce heat ,power life ,move object or produce electricity matter that can store energy is called fuel .human energy consumption has growing streetly.
ऊर्जा संसाधन के द्वारा ऊर्जा की प्राप्ति होती है इसके कई सारे संसाधन होते हैं , देखा जाता है कि भारतवर्ष में सबसे ज्यादा कोयला(coal), खनिज तेल (crude oil) पेट्रोलियम petroleum जैसे संसाधनों का प्रयोग किया जाता है कई प्राकृतिक (natural resources)संसाधन भी होते हैं जैसे प्राकृतिक गैस (natural gas)पवन चक्की ( windmill ),सौर ऊर्जा (solar energy) आदि
TYPES OF ENERGY RESOURCES:
1. Renewable energy resource (or)Non conventional energy resources:- नवीकरणीय ऊर्जा या अक्षय ऊर्जा मैं वे सभी ऊर्जा ( Energy) शामिल है जो प्रदूषण (Polluted items) कारक नहीं है तथा जिन के स्रोत(Source) का क्षय ( Loss) नहीं होता या जिनके स्रोत को पुनः प्राप्त किया जा सकता है जैसे पवन ऊर्जा(Wind Energy सौर ऊर्जा (Solar Energy),जल विद्युत ऊर्जा (Water Electricity energy) आदि नवीनीकरण ऊर्जा(Renewable) के उदाहरण है l
2. Non renewable energy resources (or) Conventional energy resources: ऐसे संसाधन जो एक बार उपयोग होने के बाद नष्ट हो जाए तथा उनको नवीकरण ना हो सके अर्थात पुनः प्राप्त ना किया जा सके वह गैर नवीकरणीय संसाधन (Non renewable energy Resources)कहलाते हैं
RENEWABLE ENERGY SOURCES: Energy which can be regenerated.
Merits :-
1. बहुत ज्यादा मात्रा में होना(unlimited supply)
2. ऊर्जा सुरक्षा प्रदान करता है(provides energy security)
3. विकास अवधारणा में फिट बैठते हैं(fit into sustainable development concept)
4. विश्वास नहीं है तथा सभी जगह प्रयोग किए जा सकते हैं(reliable and the device are modular in size)
6. विकेंद्रीकृत (सभी जगह) ऊर्जा उत्पादन (decentralize energy production)
Types of renewable energy resources:-
1. Solar energy : सूर्य से प्राप्त किरणों (sun rays) में परिवर्तित ( Change)करके बनाया जाता है इसे शौर्य शक्ति के नाम से भी जाना जाता है सूर्य से जो ऊर्जा energy प्राप्त होती है उसे विद्युत ऊर्जा में बदल कर सौर ऊर्जा कहलाता है, Nuclear fusion reaction से सूरज में बहुत अधिक मात्रा में ऊर्जा उत्पन्न होती है आज के समय में कई प्रकार के माध्यम हैं जिनके द्वारा उस energy को collect किया जा सकता है तथा store किया जा सकता है और उसे use किया जा सकता .
Ex. Solar Cell or photovoltaics Cell or pV cell
Solar battry:-ज्यादा मात्रा में solar cell को एक कतार (Series) में Connect किया जाता है उसे solar बैटरी कहते हैं और उसके द्वारा दूर के इलाकों में power Suppy का उत्पादन किया जा सकता है
Solar water heater :- इसके लिए हमें एक Insulate box को black color से पेंट करना होता है तथा उसे गिलास से ढक दिया जाता है और बॉक्स के अंदर copper coil use की जाती है और टैंक में भरा ठंडा पानी कोयल के माध्यम से बॉक्स के अंदर जाता है और वह उस पानी को गर्म कर देता है तथा दूसरे पाइप के माध्यम से गर्म पानी प्रदान करता है
2. Wind energy: भारत में Wind energy का विकास की शुरुआत 1990 के दशक में हुई और कुछ ही सालों में काफी विकास हुआ है भारत का विश्व में पवन(wind) के द्वारा ऊर्जा उत्पादन में पांचवा स्थान आता है वायु ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में परिवर्तन करने के लिए हवादार जगहों पर पवन चक्की लगाई जाती हैं भारत में पवन चक्की के संयंत्र आपको तमिलनाडु, महाराष्ट्र, गुजरात, कर्नाटक ,राजस्थान ,मध्य प्रदेश ,आंध्र प्रदेश ,केरल, पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में अधिकतर देखने को मिलती हैं भारत में कुल ऊर्जा का 8 % पवन ऊर्जा (Wind energy)के द्वारा प्राप्त किया जाता है
Problem by Wind Mill.
1. जब पवन चक्की चलती है तो काफी शोर होता है.
2. पक्षी इस ओर से भयभीत हो जाते हैं तथा पंख से टकराने से पक्षियों को नुकसान भी हो सकता है.
3. Ocean energy:
4. Geo thermal energy:(भूतापीय ऊर्जा) Geo thermal खुदाई से पानी या stream द्वारा पृथ्वी से गर्मी निकालने और एक Heat exchange के माध्यम से बिजली में परिवर्तित करना, पृथ्वी की परतों के नीचे melt गरम चट्टानों की मोटी layes जैसे मैग्मा (Megma )कहते हैं यूरेनियम Uraniumऔर पोटेशियम potassium जैसे रेडियोएक्टिव (radioactive material)तत्व कारण लगातार उत्पन्न हो रही ऊष्मा (Energy)का विशाल भंडार (Collection)हजारों साल तक हमारी आवश्यकता ओं की पूर्ति कर सकता है पृथ्वी की सतह के नीचे 30 से 50 मीटर जाने पर औसतन तापमान 10 डिग्री सेल्सियस (degree Celsius)पाई गई है कुछ किलोमीटर नीचे उतरने पर 250 डिग्री सेल्सियस तक प्राप्त हो जाता है ज्वालामुखी क्षेत्रों के आस पास तो यह तापमान और भी कम गहराई पर प्राप्त हो सकता है यदि हम चाहे तो पृथ्वी में इस ऊर्जा स्रोत का उपयोग कर सकते हैं
5. Bio mass energy: biomass पेड़ पौधों से निकलने वाली लकड़ी सूखे पत्ते आगे से हम बायोमास ऊर्जा उत्पन्न कर सकते हैं.
#पशुओं से निकलने वाले मल मूत्र गोबर से भी हम बायोमास ऊर्जा पैदा कर सकते हैं
#कृषि कार्यों में फसलों के अपशिष्ट (खराब पेड़ पौधे)के अपघटन (टूटे-फूटे बचे हुए) से बायोमास उत्पन्न होती है
#शहरों से निकलने वाले गंदे कचड़े, नाले जो खराब कचरा पानी बहता है, और जो भी खराब चीजें होती हैं उनके द्वारा भी बायोमास एनर्जी बनाई जा सकती है
NON RENEWABLE ENERGY SOURCES:
1. Coal: It is a solid fossil fuel.
Disadvantages:
1. When coal is burnt large amount of CO2 is released which causes global
warming.
2. S, N produces toxic gases during burning.
2. Petroleum:
3. Liquefied petroleum gas (LPG):
4. Natural gas:
5. Nuclear energy: किसी परमाणु के नाभिक की ऊर्जा को परमाणु ऊर्जा का जाता है प्रत्येक परमाणु(Atom) के केंद्र में दो प्रकार के कारण (element) होते हैं जिन्हें प्रोटॉन(Proton) और न्यूट्रॉन (Neutron) कहा जाता है Nuclear Power बनाने के लिए nuclear reaction करके बिजली बनाई जाती है इसमें Nuclear fission तथा Nuclear Fusion दो प्रकार की Reaction होती है आज के समय में न्यूक्लियर पावर का ज्यादा प्रयोग होने लगा है इसके लिए Nuclear Fussion के लिए Uranium & Plutonium का प्रयोग अधिक किया जाता है और इसके बड़े-बड़े संयंत्र (Plants )लगाए गए जिस से बिजली उत्पन्न की जाती है
Day - 9 Environment (Agriculture )
AGRICULTURE :- Agriculture is an art, science and industry of managing the growth of plants animals for human use. It includes cultivation of the soil, growing and harvesting crops, breeding and raising livestock, dairying and forestry.
TYPES OF AGRICULTURE
1. Traditional agriculture :- small plot, simple tool(हल चलाने वाला),Surface water(नदी तालाब), organic Fertilizer (पुराने तरीके से बनाई गई खाद) , कई प्रकार की फसलों को उगाना पुराने तरीके के अंतर्गत आता है या फिर कह सकते हैं Traditional Agriculture. इससे वह इतना भोजन प्राप्त कर लेते हैं कि वह अपनी परिवार को पालन पोषण कर सकें तथा उसे कृषि से प्राप्त गेहूं चावल ज्वार बाजरा आदि को बेच करके मुनाफा तथा Income प्राप्त कर सके!
2. Modern (or) industrialized agriculture :-और जो कृषि का नया तरीका है इसमें Hybrid seed का प्रयोग किया जाता है जिससे उत्पाद बहुत ज्यादा बढ़ जाता है तथा High-tech equipment (औजार), प्रयोग करके काम को आसान बना लेते हैं साथ ही Pesticides (कीटनाशक दवाइयों) का प्रयोग करके वह फसलों को होने वाले नुकसान या कीट से बचा सकते हैं जिससे फसल भी अच्छी होती है और ज्यादा से ज्यादा उत्पाद भी हो सकता है तथा फसल खराब भी नहीं हो पाती और कम समय में ज्यादा से ज्यादा फसल भी कर ली जाती है.
EFFECTS OF MODERN AGRICULTURE
1. Problems in using fertilizers : अगर अधिक मात्रा में Fertilizer का प्रयोग किया जाता है तो उससे मिट्टी को नुकसान हो सकता है
a. Excess of fertilizers(उर्वरक) causes micronutrient imbalance : अगर ज्यादा मात्रा में Fertilizer use किया जाता है तो कई बार किसी चीज की मात्रा बढ़ जाती है तथा किसी चीज की मात्रा घट जाती है उदाहरण हरियाणा ,पंजाब side की जमीन में Zinc की कमी है तो वह जमीन में उगाई जा रही फसलों की उत्पादकता को प्रभावित करती है
b. Blue baby syndrome (nitrate pollution): जब उर्वरक या Fertilizer मैं नाइट्रेट की मात्रा अधिक होती है तो यह जमीन में मिल जाता है तथा पानी में भी Mix हो जाता है और जब यह किसी तरीके से मानव शरीर के अंदर जाता है तो यह बच्चों में Blue baby syndrome रोग होने लगता है तथा यह शरीर में नुकसान भी पहुंचाता है.
c. Eutrophication: उर्वरक में नाइट्रोजन तथा फास्फोरस का प्रयोग किया जाता है जब वह किसी तरीके से पानी में मिलने लगता है तो वहां पर पानी या तालाबों में पानी वाले पेड़ पौधे तथा शैवाल (Algae) की मात्रा को बढ़ा देता है और बाद में जब यह पानी में खुले लगता है तो पानी में ऑक्सीजन की मात्रा को भी कम कर देता है जिससे पानी के जीवो पर बुरा प्रभाव पड़ता है इसे Eutrophication (सुपोषण) आ जाता है
Problems in using pesticides: कीटनाशक का ज्यादा प्रयोग करने से कई बार कुछ ऐसे जीव भी मर जाते हैं जो जमीन के लिए तथा फसलों के लिए फायदेमंद होते हैं और कई Pesticides ऐसे होते हैं जो Degradation (खत्म) नहीं होते और वह किसी तरह मानव शरीर के अंदर जाकर उसे भी प्रभावित करते हैं जिससे हमें कैंसर जैसी बीमारियां तथा हमारे immune System को भी बुरी तरह से प्रभावित करते हैं
Causes of water logging:
1. Excessive water supply(ज्यादा मात्रा में पानी होना)
2. Heavy rain(बारिश ज्यादा होना)
3. Poor drainage(खराब जल निकासी)
Remedy:
1. Preventing excessive irrigation(अत्यधिक सिंचाई को रोकना)
2. Subsurface drainage technology(उप सत्य जल निकासी के लिए technology used)
3. Bio drainage like trees like Eucalyptus(पेड़ पौधे लगाना है जो पानी को ज्यादा शौक सके जमीन मैं)
Case study :-दिल्ली में मां के शरीर में वेस्टसाइड की वजह से शिशु जन्म के दौरान शिशु का वजन कम होना तथा समय से पहले शिशु का जन्म हुआ जैसी समस्याएं हो जाती है
Day - 8 Environment ( Food Resources )
FOOD RESOURCES :-
TYPES OF FOOD SUPPLY:-भोजन हमारे जीवन में बहुत ही जरूरी है इसके बिना हम जीवित नहीं रह सकते, भोजन में सबसे महत्वपूर्ण पदार्थ (Component) Carbohydrates, Fats, Protein, Minerals and Vitamin.
1. Crop plants : Grains mostly constitute about 76% of the world’s food.(Grains की फसल विश्व में लगभग 76% प्रतिशत होती है
Ex: Rice, Wheat and Maize
2. Range lands : Produces 17% of world’s food from trees and grazing animals.( विश्व का 17 प्रतिशत Food हमें उन जानवरों से मिलता है जो घास पेड़ पौधे को खाकर अपने जीवन चलाते हैं)
Ex: Fruits, milk and meat
3.Ocean: Fisheries – 7% of world’s food(विश्व मैं भोजन का 7 % समुद्र के जीव से मिलता है)
WORLD FOOD PROBLEM :-विश्व में जमीन की सतह पर 79% पानी से Area ढका (Cover )हुआ है और 21% जमीन पर (वन रेगिस्तान पहाड़ और बंजर जमीन आदि हैं) जिसके कारण किसानी करने के लिए जमीन बहुत कम है और जनसंख्या वृद्धि लगातार बहुत तेजी से बढ़ती जा रही है जिससे भोजन की कमी की समस्या उत्पन्न (Produce) हो रही है, वातावरण में यह भी देखा जाता है कि मिट्टी का कटाव, water logging, प्रदूषित पानी, और खारा पानी का प्रभाव कृषि भूमि ( Agriculture Land) पर भी पड़ता है. जिस प्रकार से लगातार शहरीकरण होता जा रहा है इसका प्रभाव फसलों पर भी पड़ रहा है जिससे फसलों को सही तरीके से production करने में कठिनाई महसूस हो रही हैl
TYPES OF NUTRITION:
1. Nutritious nutrition(पौष्टिक पोषण) :- अगर हमें अच्छा स्वास्थ्य चाहिए तो उसके लिए हमें Carbohydrates, Protein, fats, और Micro Nutrients ( Vitamin s, Minerals जैसे कि Fe, Ca, and Iodine) की आवश्यकता होगी, तथा हमारे शरीर को बीमारी से भी बचाती है
2. Under nutrition : जो लोग पर्याप्त भोजन में Nutrients नहीं ले पाते तो उनके शरीर में Growth बहुत ही कम होती है तथा Infection disease का खतरा भी बढ़ जाता है
3. Mal nutrition: जब व्यक्ति सही कैलोरी (Calories)नहीं लेगा तो उसके शरीर में Proteins, Minerals, Vitamin, Iron और Iodine इनकी कमी हो जाएगी और इस कमी के कारण कई सारी बीमारियां उसे घेर सकती हैं
OVER GRAZING :- It is a process of eating the forest vegetation without giving a chance to regenerate.(वह Process होती है जिससे कि जो वन क्षेत्र है उसको धीरे-धीरे खत्म किया जा रहा है और वह दोबारा Regenerates भी सही तरीके से नहीं हो पा रहा है
EFFECTS OF OVER GRAZING
1. Land degradation :-
*Overgrazing remove the cover of vegetation
*Exposed soil gets compact
*अगर एक बार Land degradation (भूमि अवक्रमण)
2. Soil erosion::- जब घास फूस बिल्कुल से खत्म कर दी जाएगी तो मिट्टी के कटाव से जमीन पर प्रभाव पड़ता है पानी य हवा से से वह मिट्टी बह जाती है
3. Loss of useful species: पेड़ पौधों की जनसंख्या जब तेजी से खत्म होगी और वह Regenerates समय पर नहीं हो पाएगी तो जो पेड़ पौधे में अच्छी Nutritive की छमता कम हो जाएगी
Day - 7 Environment Mineral Resources
Mineral Resources :- (खनिज पदार्थ)
USES AND EXPLOITATION OF MINERALS :-
1. बड़ी-बड़ी मशीनों में तथा फैक्ट्री कारखाने बनाने के लिए उपयोग में लाया जाता है -FI, AL, CU.
2. ऊर्जा (energy) बनाने के लिए उपयोग किया जाता है- coal, uranium.
3. रक्षा के लिए हथियार (weapons)बनाने के काम भी आता है
4. Fertilizer बनाने के काम भी आता है जैसे Zn , MN.
5. संचार के साधन बनाने काम में आता है जैसे टेलीफोन के तार और बिजली से चलने वाले उपकरण (device)
6. औषधि (Medicine) बनाने काम भी आता है
ENVIRONMENTAL DAMAGES CAUSED BY MINING ACTIVITIES :-
Day 6- Environment Water Resource (
WATER RESOURCES :-
पानी का उपयोग हमारे जीवन में बहुत ज्यादा जरूरी है पानी को हम लोग सिंचाई (irrigation) के कामों में प्रयोग करते हैं और साथ ही साथ बड़े-बड़े कारखाने और घरेलू उत्पाद या घर के कामों में भी बहुत ज्यादा ही उपयोग करते हैं
Uses :-
1. यह हमारे जीवन के लिए बहुत ज्यादा जरूरी है
2. पानी का प्रयोग कई सारी शाखाओं में किया जाता है जैसे खेती किसानी में बड़े बड़े कारखानों में घरों में environmental activities में तथा सबसे ज्यादा शुद्ध पानी का प्रयोग Human करता है
3. कोई भी जीव-जंतु पेड़-पौधे बिना पानी के जीवित नहीं रह सकते अगर जब कभी हमारे शरीर में थोड़ी सी भी पानी की कमी हो जाती है तो हम लोग प्यास लगने से बेहाल होने लगते हैं और अगर हमारे शरीर में 10 % पानी की कमी हो जाए तो हमारा चेहरा मुरझाने लगता है
Hydrological Cycle :
Distribution Of Water Resources :
Under ground Water :
जल धरती की सतह के नीचे चट्टानों के द्वारा या मिट्टी के द्वारा वह है किसी तरीके से जमीन के अंदर एकत्रित हो गया है भूजल एक मीठे पानी के स्रोत के रूप में एक प्राकृतिक संसाधन है मानव के लिए जल की प्राप्ति का एक मुख्य स्रोत भूजल के अंतर्गत आने वाले जल भरे (Aquifers) है जिन्हें को और नलकूपों द्वारा पानी निकाला जाता है
Effects of over utilization of water :-
1. Decrease of ground water: अगर हम लोग ज्यादा प्रयोग करेंगे तो पानी का स्तर कम हो जाएगा, वर्षा का कम होना तथा घर मकानों को इस तरह से बनाया जाना जिससे पानी जमीन में इकट्ठा नहीं हो पाता, l permeability (जितनी ज्यादा पर मैं permeability होगी उतना ही पानी जमीन की नीचे आराम से जा सकता है)
2. Drying up of wells :- अगर हम लोग जरूरत से ज्यादा पानी का इस्तेमाल करेंगे या ग्राउंड वाटर का तो इसका Level धीरे धीरे कम होता चला जाएगा और वह दोबारा regenerates नहीं हो पाएगा इतने जल्दी, और कोई सूखने का एक बड़ा कारण यह भी है कि जगह जगह पर BORE भी होने लगे हैं
3.Pollution of water: जहां पर खेती होती है उस जमीन के पास जो भूजल है वह कम होता जाएगा क्योंकि पानी में नाइट्रोजन मिल जाएगी जिससे पानी प्रदूषित हो जाएगा
4. Intrusion of salt water :- Coastal Area , समुद्र किनारे क्या जो ग्राउंड वाटर है वह समुद्र के Contact में आने से नमकीन होता चला जाएगा जिससे पीने के पानी की shortage होगी
REASONS FOR DECLINE OF GROUND WATER
1. Population explosion: पृथ्वी पर जिस प्रकार से जनसंख्या वृद्धि दर बहुत तेजी से बढ़ रहा है उसे देखते हुए यह लगता है कि पानी की खपत भी बढ़ रही है और जिस प्रकार से यह सब हो रहा है तो ऐसा कहना गलत नहीं होगा कि पानी की शॉर्टेज बहुत ज्यादा कुछ ही सालों में हम सबको Face करनी पड़ सकती है
2.Overutilization of Surface and Groundwater: हम जानते हैं कि पानी का उपयोग मनुष्य कई कार्यों में करता है जैसे खेती किसानी और फैक्ट्री और कारखानों में लेकिन कारखानों से जो दूषित पदार्थ निकलता है वह पानी या नदी तालाब में मिला दिया जाता है जिससे कहीं ना कहीं पानी प्रदूषित हो रहा है और जल का Level कम हो रहा है
3.Deforestation: जिस तरह से देखा जाता है कि पेड़ों को Cutting होता है उससे हमारे जंगल धीरे-धीरे समाप्त होते जा रहे हैं और पेड़, पौधे ,जंगल पानी को जमीन में Collect/hold कर के रखते हैं लेकिन जब जंगल ही नहीं रहेंगे तो उस पानी को कैसे Collect/absorb कर के रखा जाएगा इससे पानी का स्तर अलग-अलग जगह पर अलग-अलग समस्याएं पैदा करेगा कहीं सूखा होगा तो कहीं बाढ़ आएगी क्योंकि पेड़ पौधे पानी को absorb करके रखते हैं
4. Rain fall: देखा जाता है कि कहीं-कहीं वर्षा बहुत कम होती है और कहीं-कहीं वर्षा बहुत ज्यादा हो जाती है', और हमारे पास अच्छे reservoirs भी नहीं है कि यहां पानी को इकट्ठा करके रखा जा सके
FLOOD (बाढ़) पानी का जब ओवरफ्लो होने लगता है तब बाढ़ के आसार हो जाते हैं यानी के जब पानी अधिक मात्रा में किनारों नदियों से ऊपर बहने लगता है यानी के उनकी क्षमता से ज्यादा जब पानी नदियों तालाबों में आ जाता है तो बाढ़ जैसे हालात बनने लगते हैं
1. CAUSES OF FLOOD : जब बहुत ज्यादा वर्षा होती है और जो बर्फ जमी हुई है वह वह भी पिघल रही है जिससे धीरे-धीरे पानी का लेवल बढ़ता चला जा रहा हैकई बार डैम से जो पानी छोड़ा जाता है वह अत्यधिक मात्रा में होता है, पेड़ पौधे तथा जंगलों का कटाव भी एक बहुत बड़ा कारण है
2. EFFECT OF FLOOD: जब बाढ़ आती है तो पानी चारों तरफ के क्षेत्र में फैल जाता है जिससे कई सारी चीज है उसमें डूब जाती हैं तथा जो Cultivation (खेती की भूमि) जमीन होती है वह भी प्रभावित होती है तथा जो सभ्यता है या जहां पर लोग रह रहे हैं वह भी प्रभावित होता है
3.FLOOD MANAGEMENT:-बाढ़ को व्यवस्थित या उससे बचना के कई उपाय हैं हमें डैम बनवाने चाहिए और Channel की व्यवस्था करनी चाहिए जिससे पानी Flow पर नियंत्रण किया जा सके, बाढ़ आने से पहले उसके बारे में पता लगाकर, पहले उसकी सही व्यवस्था की जाए (Forecasting Flood Warning) तथा हमें पेड़ पौधों और जंगलों को बचाना चाहिए और नए पेड़ पौधे लगाना चाहिए.
DROUGHT: जहां पर पानी कमी होती है वहां पर सूखा पड़ने का अंदेशा ज्यादा होता है,पर्याप्त बारिश ना होना या फिर बारिश का बहुत देर से आना, वहां के पानी का अत्यधिक प्रयोग कर उसे कम कर देना, जहां पर पानी की कमी होती है वहां अगर फैक्ट्री या खेती किसानी की जाए तो पानी जल्दी खत्म होने लगता है
1. CAUSES OF DROUGHT :-सरना वर्षा की औषधि नॉर्मल से कम होना और वाष्पीकरण ज्यादा होना सुख का कारण हो सकता है तथा जनसंख्या वृद्धि भी एक बहुत बड़ा कारण है और कई बार ऐसी फसलें को उगाना जिससे पानी की खपत बहुत ज्यादा हो जाती है
2. EFFECTS OF DROUGHT :-जब कहीं पर सूखा पड़ता है तो वहां पर पानी की बहुत ज्यादा कमी हो जाती है तथा खाने-पीने की कमियां भी होने लगती है और पीने के पानी की समस्या भी बहुत ज्यादा बढ़ जाती है जहां पर सूखा पड़ता है वहां पर फसलें भी बर्बाद हो जाती हैं और सबसे खराब Situation मैं वहां पर desertification (मरुस्थलीकरण) भी होने लगता है, तथा वहां पर विकास की दर भी रुक जाती है जिससे वहां पर कोई भी फैक्ट्री के कारखाने नहीं आगे बढ़ पाते, वहां के Natural Resources भी कम होने लगते हैं लोग उस जगह को छोड़कर दूसरी जगह पर पलायन करने के लिए मजबूर हो जाते हैं
3. DROUGHT MANAGEMENT:-सबसे पहले हमारे पास ज्ञान होना चाहिए जिससे हम पानी की महत्व को समझ सके पानी को बचाकर तथा वर्षा के पानी को सही तरीके से व्यवस्थित करके रखा जा सके हमें रिजर्वायर बनाने चाहिए जहां पर पानी को इकट्ठा करके रखा जा सके और नए-नए irrigation के तरीकों का उपयोग करना चाहिए जिससे पानी का उपयोग कम किया जाए, Crop Mixing and dry farming तरीके का उपयोग कर जगह को सूखने से बचाना चाहिए
DAMS : मानव द्वारा निर्मित बांध एक बहुत बड़ा Contribution (सहयोग) है जिससे कि पानी को इकट्ठा करके रखा जा सकता है और बांध के द्वारा बाढ़ से भी बचा जा सकता है तथा जो जगह सूखे से प्रभावित हैं उन्हें भी हम पानी Suppy कर सकते हैं लेकिन ज्यादा बड़ा बांध कई सारे वातावरण पर बुरा प्रभाव भी डालता है|अगर हम छोटे-छोटे बांध बनाते हैं दो उसका वातावरण पर कम प्रभाव होता है
1. Benefits: :- बांध बनाने के कई सारे फायदे हो सकते हैं जैसे कि आप पानी की सप्लाई अलग-अलग जगहों पर पहुंचा सकते हैं खेती किसानी के लिए फैक्ट्री तथा कारखानों के लिए और हाइड्रो पावर जनरेशन जिससे पानी से बिजली भी बनाई जा सके
2. Problems: जब बांध बनाया जाता है तो कई प्रकार की समस्याएं हो जाती हैं बांध बनाने के लिए हमें एक बहुत बड़ा Area की जरूरत होती है जिससे हमें पेड़ों को काटना पड़ता है वहां की जो Biodiversity (जैव विविधता) को भी खतरा होता है I कई सारी सामाजिक समस्याएं भी उत्पन्न होने लगती है कि लोगों को एक जगह से दूसरी जगह पर जाना होता है तथा जो जंगल में जनजाति निवास करती हैं उन पर भी कई समस्याएं का सामना करना पड़ता है, और जानवरों की आबादी पर भी बुरा प्रभाव पड़ता है, बांध बनाने से बहुत सारी जमीन उस क्षेत्र के अंदर जल मग्न ( land submerged) हो जाती है
SUSTAINABLE WATER MANAGEMENT
1. हमें छोटे-छोटे बांधों का निर्माण करना चाहिए जिससे हम Wetland को protect करके रख सकें
2. हमें बांध बांध को लीकेज से बचाना चाहिए तथा अच्छे पाइप का उपयोग करना चाहिए जिससे पानी का के द्वारा पानी एक जगह से दूसरी जगह पहुंचाना आसान हो तथा बर्बादी उसमें कम है
3. हमें soli Management, Micro catchment (जहां थोड़ा-थोड़ा पानी ) development and और पेड़ों को इस तरह से लगाना चाहिए जिससे कि under ground water को बचाया जा सके.
4. हमें Waste water को Recycle करके उपयोग करने लायक बनाना चाहिए
5. हमें ऐसा सिस्टम बनाना चाहिए जिससे पानी को अलग अलग जगह पर व्यवस्थित किया जा सके तथा उसे समय-समय पर चेक किया जा सके कि किसी प्रकार की उसमें खराबी तो नहीं आ रही|
6. लोगों को पानी की महत्वता के बारे में जागरूक करना चाहिए तथा उसका सदुपयोग के बारे में बताना चाहिए.